तनाव, चिंता और डिप्रेशन बढ़ा सकते हैं।
कम रोशनी से मूड और मेंटल वर्क प्रभावित हो सकते हैं।
सोशल इंट्रेक्शन की कमी से अकेलापन और डिप्रेशन हो सकता है।
इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों का अत्यधिक उपयोग मस्तिष्क और ध्यान पर असर डालता है।
शारीरिक गतिविधि की कमी से मस्तिष्क का कार्य खराब हो सकता है।
चुनौती से भागने की आदत से जीवन में सफलता में रुकावट आ सकती है।
कम नींद से मानसिक विकास प्रभावित होता है।