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कॉलेज की लापवाही से छात्राओं के जीवन के साथ खिलवाड़, फूड पॉइजनिंग के कारण अस्पताल में भर्ती

कर्नाटक पुलिस ने मंगलवार को दक्षिण कन्नड़ जिले के कॉलेज प्रबंधन के खिलाफ फूड पॉइजनिंग के मामले में प्राथमिकी दर्ज की, जिसमें छात्रावास के मेस में भोजन करने के बाद 231 छात्राएं गंभीर रूप से बीमार पड़ गए।
 
दक्षिण कन्नड़, (कर्नाटक), 7 फरवरी (आईएएनएस)| कर्नाटक पुलिस ने मंगलवार को दक्षिण कन्नड़ जिले के कॉलेज प्रबंधन के खिलाफ फूड पॉइजनिंग के मामले में प्राथमिकी दर्ज की, जिसमें छात्रावास के मेस में भोजन करने के बाद 231 छात्राएं गंभीर रूप से बीमार पड़ गए। जिला शिक्षा अधिकारी डॉ. जगदीश ने सिटी कॉलेज ऑफ नसिर्ंग के प्रबंधन के खिलाफ कादरी थाने में शिकायत दर्ज कराई थी, जिसमें आरोप लगाया गया था कि कन्या छात्रावास की छात्राओं को जहरीला खाना दिया जा रहा है।  इसमें यह भी कहा गया है कि प्रबंधन ने खाना बनाते समय साफ-सफाई का ध्यान नहीं रखा और छात्राओं को अस्पताल में भर्ती कराने के दौरान प्रबंधन ने जिला प्रशासन को अंधेरे में रखा। जिला शिक्षा पदाधिकारी, प्राचार्य व जिला अधिकारियों ने संयुक्त रूप से छात्रावास की रसोई का निरीक्षण किया। लैब में खाने-पीने के सामान, पीने के पानी और अन्य सामान के सैंपल भेजे गए हैं। किचन में खाना नहीं बनाने की हिदायत दी गई थी।  घटना के बाद, माता-पिता और कॉलेज प्रबंधन की बैठक आयोजित की गई, जहां माता-पिता ने स्वच्छ भोजन की अनुपलब्धता पर अपना गुस्सा निकाला, और कुछ माता-पिता का कहना है कि उन्हें नहीं पता कि उनके बच्चों का इलाज किस अस्पताल में हो रहा है। महाविद्यालय में आगामी निर्देश तक अवकाश घोषित किया गया है। दक्षिण कन्नड़ जिला आयुक्त एमआर रविकुमार ने मंगलवार को कहा कि 116 छात्राओं का अभी भी विभिन्न अस्पतालों में इलाज चल रहा है, और उनके रक्त के नमूने परीक्षण के लिए भेजे गए हैं।  घटना सोमवार की रात करीब नौ बजे की है। सूत्रों का कहना है कि घी-चावल और चिकन खाने के बाद छात्राएं बीमार पड़ गई। 115 छात्राएं इलाज के बाद छात्रावास लौट आई हैं, एक एम्बुलेंस के साथ एक विशेष चिकित्सा दल उनकी स्थिति की निगरानी के लिए छात्रावास भेजा गया।
दक्षिण कन्नड़, (कर्नाटक), 8 फरवरी  कर्नाटक पुलिस ने मंगलवार को दक्षिण कन्नड़ जिले के कॉलेज प्रबंधन के खिलाफ फूड पॉइजनिंग के मामले में प्राथमिकी दर्ज की, जिसमें छात्रावास के मेस में भोजन करने के बाद 231 छात्राएं गंभीर रूप से बीमार पड़ गए। जिला शिक्षा अधिकारी डॉ. जगदीश ने सिटी कॉलेज ऑफ नसिर्ंग के प्रबंधन के खिलाफ कादरी थाने में शिकायत दर्ज कराई थी, जिसमें आरोप लगाया गया था कि कन्या छात्रावास की छात्राओं को जहरीला खाना दिया जा रहा है।

इसमें यह भी कहा गया है कि प्रबंधन ने खाना बनाते समय साफ-सफाई का ध्यान नहीं रखा और छात्राओं को अस्पताल में भर्ती कराने के दौरान प्रबंधन ने जिला प्रशासन को अंधेरे में रखा। जिला शिक्षा पदाधिकारी, प्राचार्य व जिला अधिकारियों ने संयुक्त रूप से छात्रावास की रसोई का निरीक्षण किया। लैब में खाने-पीने के सामान, पीने के पानी और अन्य सामान के सैंपल भेजे गए हैं। किचन में खाना नहीं बनाने की हिदायत दी गई थी।

घटना के बाद, माता-पिता और कॉलेज प्रबंधन की बैठक आयोजित की गई, जहां माता-पिता ने स्वच्छ भोजन की अनुपलब्धता पर अपना गुस्सा निकाला, और कुछ माता-पिता का कहना है कि उन्हें नहीं पता कि उनके बच्चों का इलाज किस अस्पताल में हो रहा है। महाविद्यालय में आगामी निर्देश तक अवकाश घोषित किया गया है। दक्षिण कन्नड़ जिला आयुक्त एमआर रविकुमार ने मंगलवार को कहा कि 116 छात्राओं का अभी भी विभिन्न अस्पतालों में इलाज चल रहा है, और उनके रक्त के नमूने परीक्षण के लिए भेजे गए हैं।

घटना सोमवार की रात करीब नौ बजे की है। सूत्रों का कहना है कि घी-चावल और चिकन खाने के बाद छात्राएं बीमार पड़ गई। 115 छात्राएं इलाज के बाद छात्रावास लौट आई हैं, एक एम्बुलेंस के साथ एक विशेष चिकित्सा दल उनकी स्थिति की निगरानी के लिए छात्रावास भेजा गया।