Azamgarh News: मदरसों में चलेंगी प्री प्राइमरी की कक्षाएं
उत्तर प्रदेश मदरसा शिक्षा बोर्ड (यूपीएमईबी) ने सभी संस्थानों को, चाहे वह पंजीकृत हो या नहीं, अपने परिसर में प्री-प्राइमरी कक्षाएं आयोजित करने की अनुमति दे दी है। अब तक प्री-प्राइमरी कक्षाओं में दाखिले पर बोर्ड खामोश था।
May 13, 2023, 17:22 IST
लखनऊ, 13 मई - उत्तर प्रदेश मदरसा शिक्षा बोर्ड (यूपीएमईबी) ने सभी संस्थानों को, चाहे वह पंजीकृत हो या नहीं, अपने परिसर में प्री-प्राइमरी कक्षाएं आयोजित करने की अनुमति दे दी है। अब तक प्री-प्राइमरी कक्षाओं में दाखिले पर बोर्ड खामोश था।
यह फैसला उन खबरों के बाद लिया गया कि कई मदरसे पहले से ही अपने कैंपस में प्री-प्राइमरी क्लास चला रहे हैं।
बोर्ड ने हालांकि स्पष्ट किया है कि ऐसी कक्षाओं का खर्च मदरसा को ही वहन करना होगा।
यूपीएमईबी रजिस्ट्रार द्वारा जारी एक आदेश में कहा गया है कि सर्वसम्मति से यह निर्णय लिया गया है कि सभी मदरसों में प्री-प्राइमरी कक्षाओं की अनुमति दी जानी चाहिए।
वर्तमान में, उत्तर प्रदेश में 16,513 मान्यता प्राप्त और 7,500 से अधिक अपंजीकृत मदरसे हैं।
आदेश में आगे कहा गया है कि बुनियादी ढांचा, पर्याप्त शिक्षक, सुरक्षा, छात्रों की शिक्षा सहित सभी व्यवस्थाओं का मदरसों द्वारा ध्यान रखा जाएगा और राज्य किसी भी प्रकार का धन उपलब्ध नहीं कराएगा।
यूपीएमईबी के चेयरपर्सन इफ्तिखार अहमद जावेद ने कहा, 2021 से मदरसों में चल रही प्री-प्राइमरी कक्षाओं को नियमित करने पर चर्चा हो रही है, क्योंकि माता-पिता की मांग के कारण सैकड़ों संस्थान कक्षाओं को चला रहे थे। काफी विचार-मंथन के बाद आखिरकार यह तय हुआ। पूर्व-प्राथमिक कक्षाओं को वैध बनाने का निर्णय लिया गया। निर्णय सर्वसम्मत था।
यह फैसला उन खबरों के बाद लिया गया कि कई मदरसे पहले से ही अपने कैंपस में प्री-प्राइमरी क्लास चला रहे हैं।
बोर्ड ने हालांकि स्पष्ट किया है कि ऐसी कक्षाओं का खर्च मदरसा को ही वहन करना होगा।
यूपीएमईबी रजिस्ट्रार द्वारा जारी एक आदेश में कहा गया है कि सर्वसम्मति से यह निर्णय लिया गया है कि सभी मदरसों में प्री-प्राइमरी कक्षाओं की अनुमति दी जानी चाहिए।
वर्तमान में, उत्तर प्रदेश में 16,513 मान्यता प्राप्त और 7,500 से अधिक अपंजीकृत मदरसे हैं।
आदेश में आगे कहा गया है कि बुनियादी ढांचा, पर्याप्त शिक्षक, सुरक्षा, छात्रों की शिक्षा सहित सभी व्यवस्थाओं का मदरसों द्वारा ध्यान रखा जाएगा और राज्य किसी भी प्रकार का धन उपलब्ध नहीं कराएगा।
यूपीएमईबी के चेयरपर्सन इफ्तिखार अहमद जावेद ने कहा, 2021 से मदरसों में चल रही प्री-प्राइमरी कक्षाओं को नियमित करने पर चर्चा हो रही है, क्योंकि माता-पिता की मांग के कारण सैकड़ों संस्थान कक्षाओं को चला रहे थे। काफी विचार-मंथन के बाद आखिरकार यह तय हुआ। पूर्व-प्राथमिक कक्षाओं को वैध बनाने का निर्णय लिया गया। निर्णय सर्वसम्मत था।