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बंगाल में एबीटीए के टेस्ट पेपर में 'आजाद कश्मीर' का सवाल, शुरू हुआ नया विवाद

पश्चिम बंगाल स्कूल सर्विस कमीशन (डब्ल्यूबीबीएसई) के प्रश्न पत्र में आजाद कश्मीर पर एक सवाल को लेकर विवाद अभी खत्म भी नहीं हुआ था कि इस बीच ऑल बंगाल टीचर्स एसोसिएशन (एबीटीए) द्वारा प्रकाशित परीक्षा पेपर में इसी तरह के प्रश्न के सामने आने के बाद राज्य में एक नया विवाद शुरू हो गया है।
 
कोलकाता, 23 जनवरी (आईएएनएस)| पश्चिम बंगाल स्कूल सर्विस कमीशन (डब्ल्यूबीबीएसई) के प्रश्न पत्र में आजाद कश्मीर पर एक सवाल को लेकर विवाद अभी खत्म भी नहीं हुआ था कि इस बीच ऑल बंगाल टीचर्स एसोसिएशन (एबीटीए) द्वारा प्रकाशित परीक्षा पेपर में इसी तरह के प्रश्न के सामने आने के बाद राज्य में एक नया विवाद शुरू हो गया है। डब्ल्यूबीबीएसई आधिकारिक रूप से हर साल टेस्ट पेपर जारी करता है। जिसमें कुछ प्रमुख स्कूलों के क्लास दसवीं के फाइनल टेस्ट एग्जामिनेशन (प्री-बोर्ड) के प्रश्न होते हैं, जो कक्षा 10 की बोर्ड परीक्षाओं में बैठने वाले उम्मीदवारों के लिए एक गाइड के रूप में कार्य करता है। एबीटीए भी अपनी ओर से एक समानांतर परीक्षा पेपर प्रकाशित करता है।  एबीटीए मूल रूप से राज्य में वामपंथी झुकाव वाले स्कूल शिक्षकों का एक संघ है।  पिछले हफ्ते डब्ल्यूबीबीएसई के टेस्ट पेपर में एक प्रश्न का पता चलने के बाद इस मुद्दे पर बड़ा राजनीतिक हंगामा हुआ था, जहां छात्रों को मानचित्र पर आजाद कश्मीर के स्थान को इंगित करने के लिए कहा गया था। अब, एबीटीए को लेकर एक नया बवाल शुरू हो गया है।  इसके द्वारा जारी एक प्रश्न पत्र में छात्रों से आजाद कश्मीर पर एक नोट लिखने को कहा गया है।  एबीटीए के महासचिव सुकुमार पेन ने एसोसिएशन के टेस्ट पेपर में इस तरह के प्रश्न के अस्तित्व को स्वीकार किया। उन्होंने कहा, बोर्ड के सिलेबस में ही इस मामले का जिक्र है। राज्य सरकार द्वारा अप्रूव्ड बुक्स में भी इस मामले का संदर्भ है। चूंकि इस मामले पर विवाद है, इसलिए इससे संबंधित प्रश्न हमारे टेस्ट पेपर में न होता तो अच्छा होता।  इस बीच, डब्ल्यूबीबीएसई के टेस्ट पेपर में प्रश्न पर विवाद केंद्रीय स्तर पर पहुंच गया है। केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय ने राज्य के शिक्षा विभाग को एक विज्ञप्ति भेजकर इस मामले में व्याख्यात्मक टिप्पणी मांगी है।  विज्ञप्ति में कहा गया है कि आजाद कश्मीर का मामला एक अत्यंत संवेदनशील मुद्दा है और केंद्र सरकार 'पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर' को आजाद कश्मीर के रूप में मान्यता नहीं देती है।  मामले की गंभीरता को भांपते हुए राज्य शिक्षा विभाग ने मामले की आंतरिक जांच शुरू कर दी है। सूत्रों ने कहा कि डब्ल्यूबीबीएसई द्वारा इस मामले में कुल नौ शिक्षकों की पहचान की गई है और उन्हें चेतावनी दी गयी है।  इन नौ शिक्षकों में से छह बोर्ड की इतिहास पाठ्यक्रम समिति के सदस्य हैं।  रामकृष्ण मिशन के प्रधानाध्यापक विवेकानंद विद्यामंदिर को भी चेतावनी पत्र भेजा गया है, जिनके परीक्षा पत्र में आजाद कश्मीर पर विवादास्पद प्रश्न शामिल था।
कोलकाता, 23 जनवरी - पश्चिम बंगाल स्कूल सर्विस कमीशन (डब्ल्यूबीबीएसई) के प्रश्न पत्र में आजाद कश्मीर पर एक सवाल को लेकर विवाद अभी खत्म भी नहीं हुआ था कि इस बीच ऑल बंगाल टीचर्स एसोसिएशन (एबीटीए) द्वारा प्रकाशित परीक्षा पेपर में इसी तरह के प्रश्न के सामने आने के बाद राज्य में एक नया विवाद शुरू हो गया है। डब्ल्यूबीबीएसई आधिकारिक रूप से हर साल टेस्ट पेपर जारी करता है। जिसमें कुछ प्रमुख स्कूलों के क्लास दसवीं के फाइनल टेस्ट एग्जामिनेशन (प्री-बोर्ड) के प्रश्न होते हैं, जो कक्षा 10 की बोर्ड परीक्षाओं में बैठने वाले उम्मीदवारों के लिए एक गाइड के रूप में कार्य करता है। एबीटीए भी अपनी ओर से एक समानांतर परीक्षा पेपर प्रकाशित करता है।

एबीटीए मूल रूप से राज्य में वामपंथी झुकाव वाले स्कूल शिक्षकों का एक संघ है।

पिछले हफ्ते डब्ल्यूबीबीएसई के टेस्ट पेपर में एक प्रश्न का पता चलने के बाद इस मुद्दे पर बड़ा राजनीतिक हंगामा हुआ था, जहां छात्रों को मानचित्र पर आजाद कश्मीर के स्थान को इंगित करने के लिए कहा गया था। अब, एबीटीए को लेकर एक नया बवाल शुरू हो गया है।

इसके द्वारा जारी एक प्रश्न पत्र में छात्रों से आजाद कश्मीर पर एक नोट लिखने को कहा गया है।

एबीटीए के महासचिव सुकुमार पेन ने एसोसिएशन के टेस्ट पेपर में इस तरह के प्रश्न के अस्तित्व को स्वीकार किया। उन्होंने कहा, बोर्ड के सिलेबस में ही इस मामले का जिक्र है। राज्य सरकार द्वारा अप्रूव्ड बुक्स में भी इस मामले का संदर्भ है। चूंकि इस मामले पर विवाद है, इसलिए इससे संबंधित प्रश्न हमारे टेस्ट पेपर में न होता तो अच्छा होता।

इस बीच, डब्ल्यूबीबीएसई के टेस्ट पेपर में प्रश्न पर विवाद केंद्रीय स्तर पर पहुंच गया है। केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय ने राज्य के शिक्षा विभाग को एक विज्ञप्ति भेजकर इस मामले में व्याख्यात्मक टिप्पणी मांगी है।

विज्ञप्ति में कहा गया है कि आजाद कश्मीर का मामला एक अत्यंत संवेदनशील मुद्दा है और केंद्र सरकार 'पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर' को आजाद कश्मीर के रूप में मान्यता नहीं देती है।

मामले की गंभीरता को भांपते हुए राज्य शिक्षा विभाग ने मामले की आंतरिक जांच शुरू कर दी है। सूत्रों ने कहा कि डब्ल्यूबीबीएसई द्वारा इस मामले में कुल नौ शिक्षकों की पहचान की गई है और उन्हें चेतावनी दी गयी है।

इन नौ शिक्षकों में से छह बोर्ड की इतिहास पाठ्यक्रम समिति के सदस्य हैं।

रामकृष्ण मिशन के प्रधानाध्यापक विवेकानंद विद्यामंदिर को भी चेतावनी पत्र भेजा गया है, जिनके परीक्षा पत्र में आजाद कश्मीर पर विवादास्पद प्रश्न शामिल था।